Corruption: ऊधमसिंह नगर जिले के बाजपुर में विजिलेंस टीम ने मंडी समिति परिसर बाजपुर स्थित खाद्य विभाग कार्यालय में तैनात विपणन अधिकारी को 50 हजार की रिश्वत लेते रंगेहाथ दबोच लिया। सरकारी धान से चावल तैयार करने वाले एक राइस मिलर की शिकायत पर यह कार्रवाई की गयी। विपणन अधिकारी ने राइस मिलर से प्रति क्विंटल सरकारी धान के बदले रकम की मांग की थी।
जानकारी के अनुसार बाजपुर के बन्नाखेड़ा क्षेत्र के एक राइस मिल संचालक ने कुछ दिन पहले विजिलेंस से शिकायत की थी। बताया कि उनकी मिल में सरकारी धान लेकर कुटाई करने के बाद चावल तैयार किया जाता है। तैयार चावल वापस सरकार को दे दिया जाता है। मिल में चावल तैयार करने के बदले सरकार से उन्हें निर्धारित भुगतान किया जाता है।
राइस मिलर ने आरोप लगाया था कि बाजपुर में तैनात विपणन अधिकारी मोहन सिंह टोलिया ने उनसे धान कुटाई-सफाई के भुगतान में से प्रति क्विंटल 19.50 रुपये घूस देने की मांग की थी। राइस मिलर का कहना था कि वह संबंधित अधिकारी को रिश्वत नहीं देना चाहता है, उसने विजिलेंस से कार्रवाई की मांग की थी।
शिकायत मिलने के बाद विजिलेंस ने प्रारंभिक जांच की, जिसमें आरोपों के सही होने की पुष्टि हो गयी। इसके बाद गुरुवार को हल्द्वानी विजिलेंस पुलिस उपाधीक्षक अनिल सिंह मनराल के निर्देश पर निरीक्षक हेमचंद्र पांडे के नेतृत्व में एक टीम बाजपुर मंडी समिति पहुंची। यहां पहले से मौजूद राइस मिलर को 50 हजार की रकम दी गयी।
कुछ देर बाद राइस मिलर ने जैसे ही रिश्वत की रकम विपणन निरीक्षक कोे दी, विजिलेंस टीम ने उसे दबोच लिया। गिरफ्तारी के बाद विजिलेंस टीम आरोपी अधिकारी को अपने साथ हल्द्वानी ले गयी। उधर, विपणन निरीक्षक की गिरफ्तारी की जानकारी पर क्षेत्र के कई अन्य राइस मिलर भी मौके पर पहुंच गये। विजिलेंस टीम आरोपी के अन्य लोगों से भी घूस लेने के बाबत भी जांच करेगी।
मार्च में जसपुर में धरा गया था आवास विकास परिषद कर्मी
विजिलेंस टीम ने मार्च में ऊधमसिंह नगर जिले के ही जसपुर में आवास विकास परिषद कार्यालय में तैनात सफाईकर्मी को रिश्वत लेते दबोचा था। सफाईकर्मी मुकेश कुमार के खिलाफ स्थानीय व्यक्ति ने शिकायत दर्ज करायी थी। आरोप था कि भूखंड खरीदने के बाद नामांतरण के नाम पर मुकेश ने शिकायतकर्ता से दस हजार रुपये की मांग की थी। हल्द्वानी से विजिलेंस टीम ने दो मार्च को जसपुर पहुंचकर आरोपी मुकेश कुमार को रंगेहाथ पकड़ लिया था।
ऊधमसिंह नगर में पहले भी आ चुके रिश्वतखोरी के मामले
ऊधमसिंह नगर जिले में विजिलेंस की लगातार कार्रवाई के बावजूद रिश्वतखोरी के मामलों पर पूरी तरह लगाम नहीं कस पा रही है। मार्च में सफाईकर्मी को पकड़ने से पहले विजिलेंस ने 21 फरवरी को काशीपुर तहसील से पटवारी धर्मेंद्र कुमार और उनके एक साथी अलाउद्दीन को सात हजार की रिश्वत लेते रंगेहाथ पकड़ा था। पटवारी ने आय प्रमाणपत्र बनाने के एवज में अलाउद्दीन के जरिये शिकायतकर्ता से यह रकम मांगी थी।
वहीं, इससे पहले 15 फरवरी को काशीपुर के बांसखेड़ा प्राथमिक विद्यालय में तैनात प्रधानाध्यापक दिनेश शर्मा और सहायक अध्यापक अंकुर प्रताप को दस हजार की रिश्वत लेते दबोच लिया था। प्रधानाध्यापक शर्मा पर सीआरसी संकुल प्रभारी का भी दायित्व था। आरोप था कि क्षेत्र के स्कूलों में निरीक्षण के दौरान रजिस्टरों में मिली खामियों पर रिपोर्ट उच्चाधिकारियों को नहीं भेजने के एवज में उन्होंने शिकायतकर्ता से यह रकम मांगी थी।
इससे पहले अगस्त 2023 में ऊधमसिंह नगर जिले के जिला पंचायती राज अधिकारी रमेश चंद्र त्रिपाठी को किच्छा निवासी एक ठेकेदार से एक लाख की रिश्वत लेते रंगेहाथों पकड़ लिया गया था। बाद में विजिलेंस टीम ने उनके घर पर छापा मारा तो 25 लाख से अधिक की नगदी और कई संपत्तियों के दस्तावेज मिले थे। वहीं, हरिद्वार के लक्सर में सितंबर 2023 में सहकारी बैंक प्रबंधक संदीप कुमार को चार हजार की घूस लेते धरा गया। संदीप ने एक ग्रामीण को भैंस खरीद लोन के एवज में 33 हजार की मांग की थी।
सरकारी कर्मचारी-अधिकारी रिश्वत मांगें, तो यहां दर्ज करायें शिकायत
उत्तराखंड में कोई सरकारी कर्मचारी या अधिकारी आपसे किसी काम के एवज में रिश्वत की मांग करता है, तो आप विजिलेंस के पास शिकायत दर्ज करा सकते हैं। इसके लिये सतर्कता निदेशालय उत्तराखंड के टोल फ्री नंबर 1064 पर कॉल कर जानकारी दी जा सकती है। इसके अलावा निदेशालय के व्हाट्सएप नंबर 9456592300 पर मैसेज के जरिये भी आप पूरे मामले की जानकारी दे सकते हैं। शिकायत पर जांच के बाद कार्रवाई की जाती है।